भूलकर भी न करें इन चीजों का सेवन, हो सकती है अस्थमा की बीमारी
अस्थमा फेफड़ों की एक पुरानी बीमारी है, जिसमें श्वास नलिकाएं सूज कर सख्त हो जाती हैं।
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विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) के अनुसार, 2019 में लगभग 26 करोड़ 20 लाख लोग अस्थमा से पीड़ित थे। इस वर्ष, लगभग 4 लाख 55 हजार लोगों ने अस्थमा के कारण अपनी जान गंवा दी।
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डब्ल्यूएचओ के अनुसार, जेनेटिक प्रॉब्लम, तंबाकू और एलर्जी फेफड़ों में अस्थमा की शुरुआत का कारण बनते हैं।
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लेकिन जब मरीज अस्थमा को गंभीर बनाने वाली चीजों और एलर्जी के संपर्क में आता है तो अस्थमा जानलेवा हो जाता है।
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खासकर सर्दियों के मौसम में अस्थमा के लक्षण भी गंभीर हो सकते हैं। लगातार खांसी, सांस लेने में दिक्कत, सीने में घरघराहट, सीने में जकड़न जैसी समस्याएं अस्थमा के लक्षण हैं।
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एक शोध के मुताबिक अचार के सेवन से अस्थमा का अटैक आ सकता है, क्योंकि इसे खराब होने से बचाने के लिए इसमें सल्फेट मिलाया जाता है। इसके सेवन से खांसी की समस्या हो सकती है।
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अखरोट और पिस्ता जैसे सूखे मेवे भी अस्थमा की समस्या पैदा कर सकते हैं। क्योंकि, इन सूखे मेवों में एलर्जी होती है, जो जानलेवा अस्थमा के लक्षणों को ट्रिगर कर सकती है।
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बहुत से लोग राजमा चावल खाना पसंद करते हैं, यह अस्थमा के मरीजों के लिए हानिकारक होता है। एक शोध के अनुसार राजमा और अन्य फलियों में मौजूद कार्बोहाइड्रेट जब टूटते हैं तो गैस बनती है।
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राजमा के सेवन से अस्थमा में सांस लेने में दिक्कत हो सकती है और स्थिति खराब हो सकती है।\
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NCBI के एक शोध के अनुसार, अस्थमा में चाय और कॉफी का अधिक सेवन भी हानिकारक हो सकता है। क्योंकि, इसमें एलर्जी पैदा करने वाले सैलिसिलेट्स होते हैं।
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डेयरी उत्पाद हर किसी में अस्थमा का कारण नहीं बनते हैं। लेकिन आपको डेयरी उत्पादों से एलर्जी है, तो अस्थमा खराब हो सकता है। ऐसे लोगों को लैक्टोज मुक्त भोजन का सेवन करना चाहिए।
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Disclaimer: कृपया इस लेख में दी गई जानकारी और सुझावों को लागू करने से पहले अपने डॉक्टर या संबंधित विशेषज्ञ से परामर्श लें। नवभारत मीडिया किसी भी जानकारी को लेकर कोई दावा नहीं कर रहा है।