आज ही डाइट में शामिल करें ये सुपरफूड्स, थायराइड रहेगा कंट्रोल

थायराइड की समस्या का पता गर्दन के अंदर कॉलरबोन में तितली के आकार की ग्रंथि से चलता है।

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इसे एक तरह से अंतःस्रावी ग्रंथि भी कहा जाता है, जो हार्मोन का उत्पादन करती है।

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थायराइड की समस्या अधिकतर महिलाओं में सबसे आम है।

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थायराइड रोग दो प्रकार के होते हैं- हाइपरथायरायडिज्म और हाइपोथायरायडिज्म।

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आंवले में उच्च मात्रा में विटामिन सी होता है, जो रक्त संचार को अच्छा बनाए रखने में सहायक होता है।

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थायराइड के मरीजों में कच्चा नारियल और नारियल तेल का इस्तेमाल करने से मेटाबॉलिज्म बेहतर होता है।

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थायराइड के मरीजों को डेयरी उत्पाद जैसे दही, दूध, पनीर आदि का उपयोग करना चाहिए।

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ये कैल्शियम, विटामिन, मिनरल्स और कई अन्य पोषक तत्वों से भरपूर होते हैं।

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कई पोषक तत्वों से भरपूर मुलेठी थायराइड ग्रंथि को संतुलित करने में मदद करती है।

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मुलेठी से थकान, कमजोरी आदि समस्याएं नहीं होती हैं।

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थायराइड की बीमारी होने पर सोयाबीन से बनी चीजें खाने से हार्मोनल संतुलन बनाए रखने में मदद मिलती है।

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Disclaimer: यह लेख सामान्य जानकारी के लिए है, कृपया कोई भी उपाय अपनाने से पहले डॉक्टर से सलाह लें।

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