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By - Simran Singh
कई मुगल बादशाह थे, लेकिन अकबर का नाम अदब से लिया जाता था, जिन्हें आज तक नहीं भूला गया है।
मुगलों के दौर में गैर-मुस्लिमों से जजिया कर वसूला जाता था, लेकिन अकबर की सत्ता ने इसे खत्म किया।
ये खास तरह का टैक्स है, जो गैर-मुस्लिमों को धार्मिक और न्यायिक सुरक्षा देने के लिए लिया जाता था।
मुस्लिम होने के बाद भी, अकबर ने धर्म के लोगों से संबंध रखने के लिए धार्मिक वैवाहिक गठबंधन किया और एकता का संदेश दिया।
मुगल बादशाह अकबर ने अपनी पत्नी जोधा के लिए मंदिर बनवाया।
अकबर ने महल में कई महत्वपूर्ण पदों पर हिंदू पंडितों की नियुक्ति की।